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Baap Ki Ahmiyat Par Kavita – हमारे जीवन में बाप की बहुत अहमियत होती है। वह अपने जीवन को दांव पर लगा कर अपने बच्चों के भविष्य को सुनहरा बनाने का हर प्रयास करता है। लेकिन आज के समय में बच्चे अपने बाप के साथ क्या सुलूक करते हैं आइये पढ़ते हैं बाप की अहमियत पर कविता में :-
Baap Ki Ahmiyat Par Kavita
बाप की अहमियत पर कविता
सपने जो देखे उसने सब
वो बेजान दिखाई देते थे,
बेबस सी वो झुकी हुयी दो आंखें देखी थीं मैंने
दबे हुए से कुछ उनमें अरमान दिखाई देते थे।
वो बाशिंदा इसी देश का था
तन लोहे सा अब हो गया था,
जाग के सारी रात काटकर
अपनी जवानी ढो गया था,
फिक्र उसे न थी अपनी बस
हालात दिखाई देते थे,
बेबस सी वो झुकी हुयी दो आंखें देखी थीं मैंने
दबे हुए से कुछ उनमें अरमान दिखाई देते थे।
चेहरे पे झुर्रियाँ आ गयी थीं
कोशिशें उसकी रंग ला गयी थीं,
इक बेटा अफसर बन गया था
गाड़ी लाल बत्ती की आ गयी थी,
उस बूढ़े के जीवन में अब
खुशियों के आसार दिखाई देते थे,
बेबस सी वो झुकी हुयी दो आंखें देखी थीं मैंने
दबे हुए से कुछ उनमें अरमान दिखाई देते थे।
हालात क्या बदले बदले दिल भी
बाप बोझ सा लगने लगा,
छोड़ गए सब तनहा उसको
घर बंधन सा लगने लगा,
पिता को अब हर अंधकार में
काल दिखाई देते थे,
बेबस सी वो झुकी हुयी दो आंखें देखी थीं मैंने
दबे हुए से कुछ उनमें अरमान दिखाई देते थे।
तकदीर भी उसकी क्या बनती
हाथ में जख्म हजार भरे
रेखा थी जो खुशियों की अब
बढ़ने का इंतजार करे
मिला न प्यार बेटे का उसको
बस ख्वाब दिखाई देते थे,
बेबस सी वो झुकी हुयी दो आंखें देखी थीं मैंने
दबे हुए से कुछ उनमें अरमान दिखाई देते थे।
लानत है ऐसे पूतों पर
बाप बोझ लगता जिनको,
लिखे जा रहे कर्म तेरे
भुगतेगा तू भी ये कल को,
बाप न दिखता है तुझको
तेरे लाल दिखाई देते हैं,
बेबस सी वो झुकी हुयी दो आंखें देखी थीं मैंने
दबे हुए से कुछ उनमें अरमान दिखाई देते थे।
दर-दर की ठोकर खायी थी
बेटे की ख़ुशी तब पायी थी,
आज वही ठोकर देखो
किस्मत फिर से ले आई है,
आज बाप को किए हुए जप
शाप दिखाई देते थे,
बेबस सी वो झुकी हुयी दो आंखें देखी थीं मैंने
दबे हुए से कुछ उनमें अरमान दिखाई देते थे।
जप = प्रार्थना
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धन्यवाद।
8 comments
आंख में आसू आ गये, बेहद मार्मिक ????
धन्यवाद प्रदीप सिंह जी।
very nice man kush ho gya
Thanks Ankit brother…
Sundr kavita he bhai mane bhi kavita likhi he pesh pe dal ne ke liya kya karna hova
धन्यवाद Digambar chavan जी…आप अपनी कविता ईमेल द्वारा हमें भेज दीजिये। कविता प्राप्त होने पर प्रकाशित कर दी जायेगी। धन्यवाद।
waakai, Apratim hai.
Hindi me Different-2 posts and articles hain. Maine bhi ek blog start kiya hai. Yah Hindi Kavi, Kavita aur rachnakaaro ke baare me hai.
Kripya Visit kare aur sujhaw dein!
Dhanyawaad!!!
-Abhishek Singh
https://hindicreator.blogspot.in
Thanks Abhishek Singh and best wishes for your new blog.