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डर के आगे जीत है :- बहादुरी पर कविता | Dar Ke Aage Jeet Hai Poem

by Sandeep Kumar Singh
2 minutes read

कभी-कभी जीवन में ऐसे पल आते हैं जब हम परिस्थितियों के सामने घुटने टेक देते हैं। हमारे मन में कहीं एक डर की भावना उत्पन्न हो जाती है। परन्तु अगर हमें जिंदगी में आगे बढ़ना है तो इस बात को मानना होगा कि हम बिना अपने डर पर जीत प्राप्त किये आगे नहीं बढ़ सकते इसलिए हमें अपने डर पर विजय पानी होगी। इसी सन्देश को मैं इस कविता ‘ डर के आगे जीत है ‘ के जरिये आप तक पहुंचा रहा हूँ।

डर के आगे जीत है

डर के आगे जीत है

मत थर-थर-थर-थर काँपो तुम
इस अवसर को अब भाँपो तुम
ये वक़्त है तुम्हें पुकार रहा
इससे अब दूर न भागो तुम,

मिल जाओगे तुम मिट्टी में
जो अब भी हिम्मत हार गए
पहुंचोगे दूर ऊँचाई पर
जो इस डर को मार गए,

है वही सिकंदर जीवन का
बहादुरी से जिसकी प्रीत है
ज्ञान यही है जीवन का कि
डर के आगे जीत है।

है पर्वत ऊँचे तो क्या डर
तू चढ़ने की कोशिश तो कर
यूँ सोच-सोच कर आज ही तू
मरने से पहले न मर,

होता है नाम उन्हीं का जग में
जो सबसे अलग कुछ कर जाएँ
मेहनत की कलम से जग में वो
इतिहास नया इक रच जाएँ,

उसका ही जीवन धन्य है जिसके
मन में विजय का गीत है
ज्ञान यही है जीवन का कि
डर के आगे जीत है।

तूफ़ान तो आते रहते हैं
ठहराव का जीवन व्यर्थ ही है,
जिस जीवन में संघर्ष न हो
उसका जीवन तो बेअर्थ ही है,

बढ़ना है तुझको आगे तक
आसमान के पार भी जाना है
जब चलें तो कोई न रोक सके
हमें इतना जुनून बढ़ाना है,

जो बोएँगे वही काटेंगे
यही तो जग की रीत है
ज्ञान यही है जीवन का कि
डर के आगे जीत है।

मिल जाएगी मंजिल भी इक दिन
होंगे पूरे सपने सभी
है वक़्त चल रहा गर्दिश में
करो थोड़ा इन्तजार अभी,

बांधे रखो उम्मीद की डोर
और करते रहो प्रयास
फल है इक दिन मिल ही जाता
जो निरंतर करे अभ्यास,

फिर जीवन खुशहाल है होता
बजते खुशियों के गीत हैं
ज्ञान यही है जीवन का कि
डर के आगे जीत है।

पढ़िए :- हौसला बढ़ाती कविता :- चल छोड़ दे रोना तू

आपको यह कविता ‘ डर के आगे जीत है ‘ कैसी लगी हमें अवश्य बताएं।

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धन्यवाद।

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11 comments

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Ramesh अक्टूबर 26, 2022 - 10:16 अपराह्न

Behtareen rachna keep it up sir

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Jitendra अक्टूबर 25, 2022 - 2:28 अपराह्न

सर आपका आज्ञा हो तो क्या मैं यह कविता याद कर सकता हूं

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Manu ram जून 9, 2022 - 8:55 अपराह्न

Very nice sir

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funny singh जुलाई 27, 2020 - 7:42 अपराह्न

बड़िया है

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निखिल जुलाई 27, 2020 - 7:41 अपराह्न

अपने डर को दूर भगाने और परिस्थिति से कभी नहीं घबराने का नाम है ज़िंदगी | डर से मत डरो , डर के आगे बड़ो क्यूंकि डर क के आगे जीत है | एसी बात को आप तक पाहुचने के लिए शहनाज गिल ने एक नया गाना "डर के आगे जीत है " Release किया है, एस गाने के बोल Lyricsupgrade.com पर पढे (https://www.lyricsupgrade.com/darr-ke-aage-jeet-hai-lyrics-shehnaaz-gill/ )

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Arvind फ़रवरी 7, 2019 - 4:13 अपराह्न

Sir, apaki kavita bahut behtareen hai.
Padke hi romaanch jaag uthata hai.

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Sandeep Kumar Singh
Sandeep Kumar Singh फ़रवरी 7, 2019 - 8:06 अपराह्न

धन्यवाद अरविन्द जी….

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Achhipost अप्रैल 22, 2017 - 1:54 अपराह्न

bahut hi achhi article..

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Sandeep Kumar Singh
Sandeep Kumar Singh अप्रैल 22, 2017 - 1:57 अपराह्न

बहुत-बहुत धन्यवाद।

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राकेश/AchhiAdvice अप्रैल 22, 2017 - 6:45 पूर्वाह्न

सही बाट है हर डर के आगे ही जित की शुरुआत होती है

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Sandeep Kumar Singh
Sandeep Kumar Singh अप्रैल 22, 2017 - 1:56 अपराह्न

जी राकेश जी जिंदगी में डरने वाले अक्सर पीछे ही रह जाते हैं।

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